घर से पढ़ाओ अभियान
आई को रोना
महामारी महामारी महामारी,
ये पड़ गई
सब पर भारी हां भारी जी भारी।
बंद है
सारे स्कूल हमारे कम ना हो जाये ज्ञान
तभी तो
चलाया घर से पढ़ाओ अभियान,
तभी तो
चलाया घर से पढ़ाओ अभियान।
विद्यालय
की हर कक्षा के व्हाट्सएप ग्रुप बनाये,
उन ग्रुपों
से बच्चों तक विषय सामग्री जाये,
जो इन से
अनभिज्ञ रहे उन्हें एसएमएस भेजवाये ,
एजूसेट और
केबल पर शिक्षण चैनल चलवाये,
कोई बच्चा
छूट न जाए करते जतन तमाम,
तभी तो
चलाया घर से पढ़ाओ अभियान,
तभी तो चला
आया घर से पढ़ाओ अभियान।
सभी विषय
की बिंदुओं के हैं वीडियो ऐसे बनाये
जब भी चाहे
बच्चे देखें, अपना ज्ञान
बढ़ायें
पीपीटी और
नोटस बनाकर नित उन तक पहुंचाए।
समस्या का
हल करने नित उन को फोन मिलाएं
फिर
अध्यापक घर-घर जाये करने
चैक वो काम
तभी तो
चलाया घर से पढ़ाओ अभियान,
तभी तो चलाया घर से पढ़ाओ अभियान।
शिक्षा
विभाग ने हर पहलू पर रखी नजर है सारी,
कसके कमर
जी लगे हुए हैं सब शिक्षा अधिकारी,
डटे हुए
हैं शिक्षक जी जान से करके पूरी तैयारी
मुश्किल आई हैं आएंगी रहेगी शिक्षा जारी,
शिक्षा टीम
हमारी ,सब शिक्षक
को करे सलाम,
जिन्होंने चलाया घर से पढ़ाओ
अभियान,
तभी तो चलाया
घर से पढ़ाओ अभियान॥
©️अंजली सिंह
उच्च माध्यमिक शिक्षक
शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय भाद
जिला अनूपपुर मध्य प्रदेश
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3 टिप्पणियां:
अंजली मैम मेरे द्वारा आप के गीत को पढ़ा व सुना गया आपने अपने गीत के माध्यम से इस महामारी के समय शिक्षा को हर बच्चे तक पहुंचाने का जो सार्थक प्रयास किया है यह प्रेरणा अविस्मरणीय रहेगी कोई बच्चा छूट न जाए इस पंक्ति में समरसता का भंडार है साथ ही शिक्षकों को भी आपने प्रेरणा दी है की वह लगातार बच्चों के संपर्क में रहें उनके मनोबल को बढ़ाते रहें शिक्षा के लिए वर्तमान समय में जो उपलब्ध संसाधन है उन्हें बच्चों तक पहुंचाने का भरसक प्रयास करें साथ ही अपनी सूझबूझ से इस समय शिक्षा को हर बच्चे तक पहुंचाने का संकल्प करे आपने गीत में यह भी व्यक्त किया है कि कितनी भी बड़ी मुश्किल सामने आ जाए हमें साहस के साथ मुश्किल का सामना करना चाहिए यह गीत बच्चों अभिभावक व शिक्षकों के लिए ऊर्जा साबित होगा।
बहुत सुंदर रचना है। अंजली मैम 👏
शिक्षक को अपनी मानसिकता में परिवर्तन करना होगा तभी यह कार्यक्रम सफल हो सकता है। वर्तमान परिपेक्ष में आज आबादी के बहुत बड़े तबके के पास संसाधनों की कमी है। वह दो जून की रोटी की व्यवस्था करने में ही अपना पूरा समय व्यतीत कर देता है। अन्य आवश्यकताओं की पूर्ति करना उसके लिए आसमान के तारे तोड़ना जैसा होता है।
पहल अच्छी है। हम सभी शिक्षकों को इस मुहिम में जुड़ कर शासन की योजनाओं को फलीभूत करने के लिए आगे आकर बढ़ चढ़कर हिस्सा लेना चाहिए।
सुन्दर,मधुर,साहसिक एवं प्रेरणा दायी गीत।
शुभ कामनाएं।
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